धर्मशास्त्र
Hanuman Janmotsava 2023 : कब है हनुमान जन्मोत्सव 5 या 6 अप्रैल को? : आइए जानते हैं पूजा मुहूर्त के बारे में
Paliwalwaniहनुमान जन्मोत्सव का पर्व हिंदू धर्म में विशेष महत्व रखता है। यह त्योहार हनुमान जी के जन्म के उपलक्ष्य में मनाया जाता है। इसे हनुमान जन्मोत्सव के रूप में जाना जाता है, चैत्र महीने के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि को पड़ता है। संकटमोचन हनुमान जी के भक्तों में हनुमान जन्मोत्सव के मौके पर खासा उत्साह देखने को मिलता है और देशभर में इस दिन को बड़े ही धूमधाम से मनाया जाता है। श्री विष्णु को राम अवतार के वक्त सहयोग करने के लिए रुद्रावतार हनुमान जी का जन्म हुआ था। पवनपुत्र हनुमानजी ने रावण का वध, सीता की खोज और लंका पर विजय पाने में श्रीराम की पूरी सहायता की थी। हनुमान जी के जन्म का उद्देश्य ही राम भक्ति था। इस साल हनुमान जन्मोत्सव की तिथियों को लेकर थोड़ी भ्रम की स्थिति उत्पन्न हो रही है। लोग भ्रम में है कि हनुमान जन्मोत्सव 5 अप्रैल या 6 अप्रैल 2023 में से कब मनाया जाएगा। आइए जानते हैं हनुमान जन्मोत्सव की सही तिथि।
हनुमान जन्मोत्सव तिथि
- चैत्र माह के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि आरंभ: 05 अप्रैल 2023, बुधवार, प्रातः 09:19 बजे से
- चैत्र माह के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि समाप्त: 06 अप्रैल 2023, गुरुवार, प्रातः 10:04 बजे तक
- उदयातिथि के अनुसार हनुमान जयंती 6 अप्रैल को मनाई जाएगी।
- हनुमान जन्मोत्सव पर पूजा मुहूर्त
हनुमान जन्मोत्सव पर नीचे दिए गए शुभ मुहूर्त में पूजा करना शुभ रहेगा। आइए जानते हैं पूजा मुहूर्त के बारे में
- प्रातः 06:06 से 07:40 पूर्वाह्न तक
- 10:49 पूर्वाह्न से 12:23 अपराह्न तक
- दोपहर 12:23 से 01:58 अपराह्न तक
- 01:58 अपराह्न से 03:32 अपराह्न तक
- शाम 05:07 से शाम 06:41 बजे तक
- 06:41 अपराह्न से 08:07 अपराह्न तक
पूजा विधि
- हनुमान जन्मोत्सव पर बजरंगबली की विशेष पूजा-अर्चना की जाती है।
- प्रातः जल्दी उठकर व्रत संकल्प लें।
- हनुमान मंदिर में जाकर हनुमान जी की मूर्ति को सिंदूर अर्पित करें।
- इस दिन पवित्र नदियों में स्नान करें और दान आदि करें।
- हनुमान जी के साथ भगवान राम और माता सीता की भी पूजा करें।
- हनुमान जी को लाल चंदन, अक्षत्त, मौली, फूल, धूप-दीप, वस्त्र, फल, पान आदि वस्तुएं अर्पित करें।
- हनुमान जयंती पर हनुमान चालीसा और सुंदरकांड का पाठ करें।
- इसके बाद आरती के साथ पूजा संपन्न करें और प्रसाद वितरित करें।
- हनुमान जी का आशीर्वाद लेने के लिए "ॐ हं हनुमते नमः" और "ॐ नमो भगवते हनुमते नमः" मंत्र का जाप करें।