दिल्ली
10 साल लंबे इंतजार के बाद राज्यसभा में GST बिल पास- ऐतिहासिक उपलब्धि
Anil bagoraनई दिल्ली। लंबे समय से लंबित पड़ा वस्तु और सेवाकर संशोधन विधेयक आज आखिरकार राज्यसभा में पास हो गया। यह विधेयक 6 संशोधनों के साथ राज्यसभा में पेश किया गया था। राज्यसभा में शाम तक जीएसटी बिल पर चर्चा हुई। चर्चा के बाद वोटिंग की गई, जिसमें जीएसटी के पक्ष में 203 वोट पड़े। कांग्रेस इस बिल को मनी बिल के रूप में न लाकर फायनेंस बिल के तौर पर लाने की मांग कर रही थी। इस पर जेटली ने कहा कि इस पर कोई भी फैसला सभी पार्टियों से बात करने के बाद ही किया जाएगा। AIADMK ने विरोध में सदन से बायकॉट कर दिया।
GST की दर 17-20% के बीच रहने की संभावना
GST की दर 17-20% के बीच रहने की संभावना जताई जा रही है। राज्यसभा में जेटली ने कहा कि जीएसटी से टैक्स चोरी पकड़ी जा सकेगी। GST काउंसिल केंद्र और राज्य दोनों को टैक्स, सेस, सरचार्ज पर सुझाव देगी। करीब हर राजनैतिक पार्टी का इसमें प्रतिनिधित्व होगा। इस मौके पर केंद्रीय वित्तमंत्री अरुण जेटली ने जीएसटी को देश के आर्थिक विकास के महत्वपूर्ण बताते हुए कहा है कि इससे बड़ा बदलाव आएगा। यह अब तक सबसे कड़ा आर्थिक सुधार है, क्योंकि इससे पूरे देश में एक समान कर लगेगा। जीएसटी पर ज्यादातर दलों में आम सहमति के बाद ही इसे राज्यसभा में पेश किया है। हमने विवाद निपटारे के लिए राज्यों को ज्यादा अधिकार दिए हैं।
राज्यों के राजस्व के साथ-साथ केंद्र के राजस्व में भी वृद्धि
वित्तमंत्री अरुण जेटली ने आगे कहा कि जीएसटी बिल का सबसे बड़ा भाग यह होगा कि यह भारत को एक समान बाजार में बदल देगा। यह राज्यों को और सशक्त बनाएगा। इससे राज्यों के राजस्व के साथ-साथ केंद्र के राजस्व में भी वृद्धि होगी। साथ ही इससे यह सुनिश्चित होगा कि कर पर कोई कर नहीं लगेगा। सरकार ने अतिरिक्त एक फीसद टैक्स लगाए जाने का अपने पहले का प्रस्ताव वापस ले लिया है।