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सियासत में बहुचर्चित हनीट्रेप : आरोपियों के पास से जब्त सीडी को सीएफएसएल ने बताया असली

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सियासत में बहुचर्चित हनीट्रेप : आरोपियों के पास से जब्त सीडी को सीएफएसएल ने बताया असली
सियासत में बहुचर्चित हनीट्रेप : आरोपियों के पास से जब्त सीडी को सीएफएसएल ने बताया असली

इंदौर। मध्यप्रदेश के बहुचर्चित हनी ट्रैप मामले में आरोपियों के पास से मिली सीडी और पोर्न फिल्में असली पाई गई हैं। सीएफएसएल हैदराबाद की जांच रिपोर्ट ने इस पर मुहर लगा दी है। ऐसे में बोतल में बंद हनी ट्रैप मामले का जिन्न एक बार फिर बाहर आने के आसार हैं। ऐसा इसलिए कि रिपोर्ट मिलने के बाद मामले की जांच में तेजी आ सकती है। सीएफएसएल की इस रिपोर्ट के बाद से ही सियासी हलकों में हलचल महसूस की जा रही है।

गौरतलब है कि धोखाधड़ी और ब्लैकमेल करने की धारा में 19 सितंबर 2019 को इंदौर के पलासिया थाने में दर्ज किया गया था। यह कार्यवाई इंदौर नगर निगम के इंजीनियर हरभजन सिंह की शिकायत पर की गई थी। इंदौर पुलिस ने गिरोह में शामिल पांच महिलाओं और उनके एक ड्राइवर को गिरफ्तार किया था। गिरफ्तारी के बाद हुए खुलासे और हर रोज नेताओं और अफसरों का नाम आने के बाद प्रकरण की जांच के लिए एसआईटी बना दी गई थी।

● हाईकोर्ट के आदेश पर हुई थी जांच : किसी तरह की जांच में गड़बड़ी नहीं हो, इसके लिए हाईकोर्ट की इंदौर खंडपीठ मामले में निगरानी कर रही है। गिरफ्तार महिलाएं रसूखदार चेहरों पर दांव लगाती थीं और उन्हें प्रेमजाल में फंसाकर वीडियो और पोर्न फिल्में बना लेती थीं। उनके मोबाइल में मंत्रियों के निज सहायक समेत कई नेताओं-अफसरों और अन्य रसूरवदार चेहरों की पोर्न फिल्में मिलीं थीं। इस खुलासे के बाद हाईकोर्ट ने पूरी जानकारी मांगी थी। जानकारी मिलने के बाद हाईकोर्ट के निर्देश पर डेढ़ दर्जन सीडी, कंप्यूटर हार्ड डिस्क और मोबाइल फोन की डिवाइस जांच के लिए सीएफएसएल हैदराबाद भेजी गई थी। 

सियासत में बहुचर्चित हनीट्रेप : आरोपियों के पास से जब्त सीडी को सीएफएसएल ने बताया असली

● कोर्ट के दिशा निर्देश पर तय होगी कार्यवाई : बहरहाल अब सब हाईकोर्ट के दिशा-निर्देश पर निर्भर करेगा। अफसरों का कहना है कि सीएफएल की जांच रिपोर्ट हाईकोर्ट में पेश की जाएगी। हाईकोर्ट से उस पर मागदर्शन प्राप्त किया जाएगा। उस हिसाब से आगे की कार्यवाई होगी। बताते हैं कि मामले में अंतिम चालान भी पेश किया जा चुका है। जांच रिपोर्ट अंतिम चालान पेश किए जाने के बाद मिली है। इसलिए मामले में हाईकोर्ट का मार्गदर्शन भी एसआईटी के लिए काफी अहम होगा। फोटो फाईल

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