दिल्ली
Central Vista Avenue : राजपथ की बदलेगी तस्वीर, PM मोदी ने किया Central Vista का उद्घाटन
Paliwawaniगुरूवार की शाम को देश के प्रधानमंत्री Narendra Modi ने Central Vista Redevelopment Project का उद्घाटन किया है। आपको बता दें कि देश की सबसे खास जगह को पूरी तरह से एक नया रूप दे दिया गया है।देश की सबसे खास जगह पूरी तरह से बदली हई दिखाई देगी। हम बात कर रहे हैं राजधानी दिल्ली में स्थित इंडिया गेट और उसके आसपास की पूरी जगह की जिसे नए तरीके से बनाया जा रहा है। इसे सेंट्रल विस्टा का नाम दिया गया है, जिसके तहत इंडिया गेट से लेकर संसद भवन तक आएगा. इसका काम आखिरी चरण में है, लेकिन इससे पहले सेंट्रल विस्टा एवेन्यू का काम पूरा हो चुका है। जिसका उद्घाटन आज पीएम मोदी करने जा रहे हैं।
इंडिया गेट से राष्ट्रपति भवन की तरफ जो रास्ता जाता है, उसे पहले राजपथ कहा जाता था. लेकिन अब इसका नाम बदलकर कर्तव्य पथ कर दिया गया है. दरअसल सेंट्रल विस्टा पर चल रहे काम के चलते पिछले कई महीनों से इस रास्ते पर बैरिकेडिंग थी, घूमने आए लोगों को भी इससे परेशानी हो रही थी, लेकिन अब इस पूरे कॉरिडोर का काम पूरा हो चुका है और इसे खोला जा रहा है।
क्यों बदला गया राजपथ का नाम?
बात है 111 साल पुरानी जब देश पर अंग्रेजों का शासन था और देश की राजधानी थी कलकत्ता जिसे आज हम कोलकाता के नाम से जानते हैं लेकिन अंग्रेजों के खिलाफ भारतीयों ने विरोध के सुर ऐसे उगले की अंग्रेजों को दिल्ली आना पड़ा जिसको उन्होंने देश की राजधानी घोषित किया फिर क्या था राज था।
अंग्रेजों का सोच भी विदेशी तो उस समय के मशहूर आर्किटेक्चर एडवर्ड lutiyan ने आज के राजपथ से लेकर उस समय के गवर्नर हाउस यानी आज के राष्ट्रपति भवन की सरंचना दी फिर क्या इंडिया गेट से लेकर गवर्नर हाउस तक के लगभग 3km के रास्ते को किंग्स वे का नाम दे दिया गया।
इसका मतलब साफ है। राजा का रास्ता जिसमें भारतीयों का जाना मना था समय बदला और हमारे देश के सपूतों ने देश को आजाद कराया उसके बाद नजारा बदला और भारत के पूर्व प्रधानमंत्री पंडित नेहरू ने इस सड़क के नाम का हिंदी अनुवाद कर दिया। राजपथ यानी राजा का रास्ता लेकिन इस नाम में कहीं कहीं राजा वाले तंत्र जैसे बात थी। जो कि आजाद भारत के लिए अच्छा संकेत नहीं था।
हालांकि इस ऐतिहासिक रास्ते का नाम पहली बार नहीं बदला गया है। इसका नाम पहले भी बदला जा चुका है. राजपथ को पहले किंग्सवे कहा जाता था। 1955 में इसका नाम बदलकर राजपथ कर दिया गया. जिसके बाद अब 7 सितंबर 2022 को इसे बदलकर कर्तव्य पथ का नाम दिया गया है।