दिल्ली
यूक्रेन के राष्ट्रपति ज़ेलेंस्की से प्रधानमंत्री मोदी ने की बात
Paliwalwaniनई दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मंगलवार 4 अक्टूबर 2022 को यूक्रेन के राष्ट्रपति वलोडिमिर ज़ेलेंस्की के साथ टेलीफोन पर बातचीत की है. दोनों नेताओं ने यूक्रेन में चल रहे संघर्ष पर चर्चा की है. पीएम मोदी ने संघर्ष को जल्द खत्म करने और बातचीत व कूटनीति के रास्ते पर चलने की बात दोहराई है. पीएम मोदी ने कहा कि संघर्ष का कोई सैन्य समाधान नहीं हो सकता है और किसी भी शांति प्रयासों में योगदान करने के लिए भारत की तत्परता से अवगत कराया.
पीएमओ ने बताया कि प्रधानमंत्री मोदी ने यूक्रेन के राष्ट्रपति वलोडिमिर ज़ेलेंस्की के साथ टेलीफोन पर बातचीत में संयुक्त राष्ट्र चार्टर, अंतर्राष्ट्रीय कानून और सभी राज्यों की संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता का सम्मान करने के महत्व को भी दोहराया है. पीएमओ ने आगे बताया कि पीएम मोदी ने इस बात पर जोर दिया कि भारत यूक्रेन सहित अन्य परमाणु प्रतिष्ठानों की सुरक्षा को महत्व देता है. उन्होंने रेखांकित किया कि परमाणु सुविधाओं के खतरे में सार्वजनिक स्वास्थ्य और पर्यावरण के लिए दूरगामी व विनाशकारी परिणाम हो सकते हैं.
आज का युग युद्ध का नहीं
इससे पहले पीएम मोदी ने पिछले महीने उज्बेकिस्तान के समरकंद में एससीओ समिट के दौरान रूसी राष्ट्रपति पुतिन से मुलाकात की थी. पीएम मोदी ने पुतिन से कहा था कि आज का युग युद्ध का नहीं है और मैंने आपसे इस बारे में कॉल पर बात की है. हम शांति के पथ पर आगे बढ़ सकते हैं. भारत और रूस कई दशकों से एक-दूसरे के साथ रहे हैं.
हाल ही में फ्रांसीसी राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रोन ने संयुक्त राष्ट्र महासभा के 77 वें सत्र में पीएम मोदी के इस बयान का जिक्र किया था. उन्होंने कहा था कि भारत के पीएम नरेंद्र मोदी सही कहा है कि ये समय युद्ध का नहीं है. यह पश्चिम के खिलाफ बदला लेने के लिए या पूर्व के खिलाफ पश्चिम का विरोध करने के लिए नहीं है. ये समय साथ मिलकर चुनौतियों का सामना करने का है.
रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने भारतीय प्रधा मंत्री द्वारा उठाई गई चिंताओं को माना था और कहा था कि मैं यूक्रेन संघर्ष पर आपकी स्थिति के बारे में जानता हूं. मैं आपकी चिंताओं के बारे में जानता हूं. हम चाहते हैं कि यह सब जल्द से जल्द खत्म हो, लेकिन दूसरी पार्टी, यूक्रेन बातचीत की प्रक्रिया में शामिल होने से इनकार करती है.