उत्तर प्रदेश
शिया पर्सनल लॉ बोर्ड : मुस्लिम वोटरों को जाल में फंसाने के लिए मोहन भागवत ने दिया DNA वाला बयान
Adminआरएसएस प्रमुख मोहन भागवत की तरफ से मुसलमानों और मॉब लिंचिंग को लेकर दिए गए बयान की कई मुस्लिम संगठनों ने भले ही तारीफ की हो, लेकिन ऑल इंडिया शिया पर्सनल लॉ बोर्ड के महासचिव और प्रवक्ता यासूब अब्बास ने मोहन भागवत के इस बयान को राजनीतिक लाभ लेने का एक हथकंडा बताया। यासूब अब्बास ने कहा की भागवत का बयान मुस्लिम वोट बैंक को बिखारने की कोशिश है।
मुस्लिम वोटरों को फंसाने की कोशिश
मेरठ के रामबाग कॉलोनी में गुरुवार को आए ऑल इंडिया शिया पर्सनल लॉ बोर्ड के महासचिव और प्रवक्ता यासूब अब्बास ने मोहन भागवत के गाजियाबाद में दिए हुए बयान की निंदा की। और कहा के जिस तरह से चिड़िया को फंसाने के लिए जाल डाला जाता है इसी तरह से मोहन भागवत ने मुसलमानों के अंदर सॉफ्ट कॉर्नर दिखाते हुए यह जाल डाला है। उन्होंने कहा कि मुसलमानों का वोट बैंक तोड़ने की यह कोशिश कामयाब नहीं होगी।
नहीं बिखरेगा मुस्लिम वोट
जिस तरह से एआईएम के अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी ने उत्तर प्रदेश में चुनाव लड़ने के फैसले के माध्यम से मुसलमानों के वोट बैंक में बिखराव की कोशिश की है। लेकिन मुसलमान का वोट अब नहीं बिखरेगा। वही यासूब अब्बास ने एक सवाल के जवाब में कहा कि जो दल यह कहते हैं कि उन्हें मुस्लिम वोट बैंक की जरूरत नहीं है वो दल इलेक्शन ना लड़ें। यासूब अब्बास ने कहा की मुस्लिम वोट इस देश की राजनीति में अहमियत और हैसियत रखता है। यह बात तमाम राजनीतिक दल समझ लें।
आरएसएस चीफ के इस बयान पर बढ़ी रार
मोहन भागवत के बयान को लेकर हालांकि भारतीय जनता पार्टी खुद असमंजस में है कि वह किस तरह से हिंदुत्व के मुद्दे को उत्तर प्रदेश के चुनाव में भुनाएगी जबकि आरएसएस मोहन भागवत ने मुसलमानों का और हिंदुओं का डीएनए एक होने की बात कही है और मॉब लिंचिंग को हिंदुत्व के खिलाफ बताया था। हालांकि भारतीय जनता पार्टी की तरफ से अभी अधिकारिक रूप में इस पर कोई बयान नहीं आया है। लेकिन एक समाचार के अनुसार बंगाल और आसाम में आरएसएस के कुछ पदाधिकारियों ने इस पर चिंता व्यक्त की है।