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Vishwakarma Puja 2023 : 50 साल बाद विश्वकर्मा पूजा पर बन रहा दुर्लभ संयोग, जरूर करें ये उपाय, बिजनेस में होगा खूब मुनाफा
PushplataVishwakarma Puja 2023 : हिंदू पंचांग के अनुसार, इस साल विश्वकर्मा पूजा 17 सितंबर 2023 को की जा रही है। धार्मिक शास्त्रों तके अनुसार, भगवान विश्वकर्मा को दुनिया का सबसे पहला वास्तुकार माना जाता है। हर साल कन्या संक्रांति यानी जब सूर्य कन्या राशि में प्रवेश करते हैं, तो उस दिन विश्वकर्मा पूजा की जाती है। इस साल की विश्वकर्मा पूजा काफी खास है, क्योंकि करीब 50 सालों के हबाद दुर्लभ संयोग बन रहा है। इस दिन ऑफिस, फैक्ट्री,अस्त्र-शस्त्र की विधिवत पूजा करने का विधान है। इसके अलावा अगर आपको बिजनेस में लगातार घाटा हो रहा है, तो विश्वकर्मा पूजा के दिन कुछ खास ज्योतिषीय उपाय करना लाभकारी सिद्ध हो सकता है।
50 साल बाद बना दुर्लभ संयोग
हिंदू पंचांग के अनुसार, इस साल विश्वकर्मा पूजा के दिन सर्वार्थ सिद्धि योग, अमृत सिद्धि योग, द्विपुष्कर योग के साथ ब्रह्म योग बन रहा है। ऐसे में भगवान विश्वकर्मा की पूजा करने से कई गुना अधिक फल की प्राप्ति होगी। बता दें कि इस दिन द्विपुष्कर योग सुबह 10 बजकर 2 मिनट से सुबह 11 बजकर 9 मिनट तक रहेगा। इसके साथ ही अमृत सिद्धि और सर्वा्रथ सिद्धि योग सुबह 6 बजकर 17 मिनट से 10 बजकर 2 मिनट तक रहेगा। इसके अलावा ब्रह्म योग सुबह 4 बजकर 12 मिनट से 18 सितंबर को सुबह 4 बजकर 27 मिनट तक रहेगा।
हर क्षेत्र में सफलता पाने के लिए उपाय
अगर आप हर क्षेत्र में सफलता पाने के साथ काम में आ रही अड़चनों से छुटकारा पाना चाहते हैं, तो विश्वकर्मा पूजा के दिन तुलसी के आसपास मौजूद खरपतवार को तोड़कर एक पीले कपड़े में बांधकर अपने गले या फिर दाएं बाजू में बांध लें।
व्यापार में लाभ के लिए उपाय
अगर व्यापार में अपार मुनाफा चाहते हैं, तो विश्वकर्मा पूजा के दिव कुष्ट रोगियों को पेय पदार्थ बांटना चाहिए। इसके साथ ही कुंवारी कन्याओं को लड्डू देना चाहिए और गाय को हरी घास खिलानी चाहिए। इससे व्यापार में तरक्की होगी।
धन लाभ के लिए उपाय
अगर पैसों की तंगी का सामना करना पड़ रहा है, तो विश्वकर्मा पूजा के दिन उन्हें हरी मिठाई का भोग लगाने के साथ इसका दान करें। ऐसा करने से आर्थिक स्थिति संबंधी समस्याएं समाप्त हो जाएगी।
इन मंत्रों का करें जाप
विश्वकर्मा पूजा के दिन इन मंत्रों का जाप करने से व्यक्ति को धन-संपदा की प्राप्ति होगी। इसके साथ ही व्यापार में खूब लाभ मिलेगा।
- ऊं आधार शक्तपे नम:
- ऊं कूमयि नम:
- ऊं अनन्तम नम:
- पृथिव्यै नम:
Note- इस लेख में दी गई किसी भी जानकारी की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है।