आपकी कलम
वचनामृत : गलत निर्णय के कारण प्रतिकूल परिस्थिति में सही कदम उठाएँ...!
paliwalwani
सभी निर्णय सही नहीं होते और इसलिए कभी-कभी हम किसी प्रतिकूल या अवांछित परिस्थिति में फंस जाते हैं। हम ऐसी परिस्थिति में जिस तरह से प्रतिक्रिया करते हैं, वह हमारी परिपक्वता के स्तर को निर्धारित करता है।
हम किस्मत को दोष दे सकते हैं और कुछ भी सहन या करने में असमर्थ होने के कारण दुखी महसूस कर सकते हैं। या, हम भाग्य को स्वीकार कर सकते हैं और उससे अधिकतम लाभ उठाने का प्रयास कर सकते हैं। चुनाव हमारा है।
हर परिस्थिति हमें एक सबक सिखाती है। हालाँकि, प्रतिकूल परिस्थितियाँ हमें प्रभावशाली और लंबे समय तक चलने वाले सबक सिखाती हैं। इसलिए, समझदारी की मांग है कि प्रतिकूल क्षण को स्वीकार करें और उसमें सुधार करें।
भगवान हमें प्रतिकूल परिस्थितियों में परिपक्वता से कार्य करने की बुद्धि प्रदान करें ताकि नुकसान से लाभ उठाया जा सके!
गलत निर्णय को स्वीकार करें और उसमें सुधार करने या उसे सुधारने का प्रयास करें!
- योगेश चन्द्र पण्ड्या