दिल्ली
SEBI New Rules: अब शेयर बाजार में नहीं डूबेगा आपका पैसा! सेबी ने बदले IPO, म्यूचुअल फंड के नियम
Paliwalwaniनई दिल्ली: शेयर बाजार के निवेशकों के लिए जरूरी खबर है. खुदरा निवेशकों की सुरक्षा के लिए बाजार नियामक सेबी ने मंगलवार को कई नियमों में बदलाव किए हैं. इससे आईपीओ और म्यूचुअल फंड में पैसे लगाने वाले इन्वेस्टर्स पर रिस्क कम होगा. सेबी ने आईपीओ के एंकर निवेशकों की निकासी सीमा और समय तय करने के साथ जुटाए फंड के सही इस्तेमालके लिए भी नियम बनाया है. आइए जानते हैं इन नियमों के बार में .
भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय (SEBI) के चेयरमैन अजय त्यागी की अध्यक्षता में बैठक हुई. आईपीओ के लिए सबसे जरूरी माने जाने वाले एंकर निवेशकों की लॉक इन अवधि 30 दिन से बढ़ाकर 90 दिन कर दिया गया है, जबकि उनकी निकासी सीमा भी 50 फीसदी तक तय कर दी है.
आईपीओ से फंड जुटाने वाली कंपनियां अब सिर्फ 25 फीसदी इस्तेमाल इन-ऑर्गेनिक कार्यों में कर सकेंगी, जबकि 75 फीसदी राशि उन्हें कारोबार विस्तार में लगानी पड़ेगी. आईपीओ में 20 फीसदी हिस्सेदारी रखने वाले प्रवर्तकों की लॉक इन अवधि तीन साल से घटाकर 18 महीने कर दी है, जबकि 20 फीसदी से ज्यादा हिस्सेदारी पर लॉक इन अवधि एक साल से घटाकर छह महीने हो गई है। इसी तरह, म्यूचुअल फंड योजनाओं को बंद करने से पहले फंड हाउस को यूनिट धारकों की अनुमति लेनी होगी। ये नियम एक अप्रैल, 2022 के बाद आने वाले आईपीओ पर लागू होंगे.
- किसी आईपीओ में 20 फीसदी से ज्यादा हिस्सेदारी रखने वाले शेयर होल्डर या एंकर निवेशक अब सूचीबद्ध वाले दिन अपना पूरा हिस्सा नहीं बेच सकेंगे। ऐसे शेयर होल्डर सूचीबद्ध के दिन कुल हिस्सेदारी का 50 फीसदी ही बेच पाएंगे.
- आईपीओ से मिले पैसों के इस्तेमाल से जुड़े खुलासा नियमों का भी निवेशकों को लाभ मिलेगा. कंपनियां अब सिर्फ 25 फीसदी राशि का इस्तेमाल इन-ऑर्गेनिक फंडिंग में कर सकेंगी, जबकि 75 फीसदी राशि उन्हें कारोबार विस्तार में लगानी होगी
- आईपीओ के मूल्य बैंड के नियमों में बदलाव करते हुए इसका दायरा बढ़ा दिया है. अब किसी आईपीओ का फ्लोर प्राइज (आधार मूल्य) और अपर प्राइज के बीच का अंतर कम से 105 फीसदी रहेगा.
- फंड हाउस अब किसी म्यूचुअल फंड योजना को बंद करना चाहते हैं, तो उन्हें पहले यूनिट धारकों से इजाजत लेनी होगी. फंड हाउस को 2023-24 से भारतीय अकाउंटिंग मानक का पालन करना होगा, जिसमें किसी योजना को बंद करने के लिए निवेशकों से वोटिंग कराई जाएगी.