ज्योतिषी
रोज सुबह-शाम कपूर जलाएं : रोज सुबह कर लें ये काम : धन-धान्य और खुशियों से भर जाएगा घर
Paliwalwani
शास्त्रों में मनुष्य की दिनचर्या के बारे में भी महत्वपूर्ण नियम बताए गए हैं. यदि शास्त्रों में बताए गए नियमों के अनुसार दिन का आरंभ किया जाए, तो मनुष्य अपने जीवन में सकारात्मक परिवर्तन ला सकता है. कहां भी जाता है कि यदि दिन की शुरुआत अच्छी हो तो पूरा दिन अच्छा जाता है. हालांकि आज के समय में लोग शास्त्रों में बताए गए नियमों का पालन नहीं कर पाते हैं, लेकिन सुबह के समय यदि कुछ कार्य नियमपूर्वक किए जाएं तो जीवन की परेशानियां कम होने लगती हैं.
सुख-समृद्धि के लिए घर में सकारात्मक ऊर्जा का होना बहुत जरूरी है लेकिन वास्तु दोष समेत कई कारणों से ऐसा संभव नहीं हो पाता है. लिहाजा घर में फैली निगेटिविटी हमारी जिंदगी पर बुरा असर डालती है, जो पैसों की तंगी, बीमारियों और दुख-दर्द का कारण बनती है. वास्तु शास्त्र में घर की नकारात्मकता ऊर्जा को बाहर करकेसकारात्मक ऊर्जा का संचार करने के कुछ अचूक उपाय बताए गए हैं. घर में हमेशा सकारात्मकता बनाए रखने के लिए ये उपाय रोज करना जरूरी है. हालांकि ये उपाय बेहद आसान हैं और इन्हें करने में ज्यादा समय भी नहीं लगता है.
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रोज सुबह घर का मुख्य द्वार और खिड़कियां खोल दें. इसके बाद मुख्य द्वार की दहलीज को चुटकी भर हल्दी मिले पानी से धोएं. ऐसा करने से देवी लक्ष्मी प्रसन्न होकर धन वर्षा करती हैं.
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मुख्य दरवाजे से हमेशा सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह हो इसके लिए रोज सुबह दरवाजे पर स्वास्तिक बनाएं. साथ में शुभ-लाभ भी लिख दें. इससे घर में कभी धन-धान्य की कमी नहीं होती.
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मुख्य द्वार के दोनों ओर आटे से छोटी रंगोली बना लें. यह बहुत शुभ होती है. वैसे तो यह काम रोज करें लेकिन संभव न हो तो हफ्ते में कम से कम एक बार जरूर रंगोली बनाएं.
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रोज सुबह-शाम कपूर जलाएं और इसे पूरे घर में घुमाएं. सकारात्मकता लाने का यह अचूक उपाय है.
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शास्त्रों के अनुसार मनुष्य को प्रातः जागते ही सबसे पहले अपनी हथेलियों को एकसाथ मिलाकर उनके दर्शन करने चाहिए.
ध्यान रखें कि आंख खुलते ही सबसे पहले यह कार्य करना है. हथेली देखने से पहले किसी भी वस्तु या व्यक्ति को न देखें. इस कार्य को अपने जीवन का नियम बना लें. इसके साथ ही आपको हथेली देखते समय एक मंत्र का उच्चारण भी करना चाहिए. जानिए मंत्र...अपनी दोनों हथेलियों को जोड़कर देखते समय इस मंत्र का कम से कम एक बार जाप अवश्य करें, आप एक से अधिक बार भी मंत्र उच्चारण कर सकते हैं.
मंत्र- “कराग्रे वसति लक्ष्मीः, कर मध्ये सरस्वती।
करमूले तू ब्रह्मा, प्रभाते कर दर्शनम्।।“
अर्थात् हथेलियों के अग्रभाग में मां लक्ष्मी, मध्य भाग में विद्यादात्री सरस्वती और मूल भाग में भगवान गोविन्द (ब्रह्मा) का निवास है। प्रभात यानि (सुबह का समय) में मैं इनका दर्शन करता हूं।
(नोट: इस लेख में दी गई सूचनाएं सामान्य जानकारी और मान्यताओं पर आधारित हैं. paliwalwani.com इनकी पुष्टि नहीं करता है.)
Vastu Dosh . Prosperity