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जिएंगे साथ-साथ और मरेंगे भी तो साथ-साथ : 48 घंटे के भीतर पति और फिर पत्नी सोलंकी का देव लोक गमन

रतलाम/जावरा Published by: जगदीश राठौर Updated Tue, 15 Oct 2024 02:12 AM
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रतलाम जिला ब्यूरो चीफ जगदीश राठौर 94254 90641

आलोट. रतलाम जिले के आलोट में रानीपुरा निवासी पहले पति का देवलोक गमन हुआ और ठीक 48 घंटे के बाद पत्नी भी अनंत यात्रा पर चली गई. श्री दामोदर वंशीय जूना दर्जी समाज जावरा के पूर्व अध्यक्ष नरेंद्र मकवाना ने बताया कि आलोट में रानीपुरा निवासी 80 वर्षीय श्री बद्रीलाल जी सोलंकी का 12 अक्टूबर 2024 शनिवार को ठीक रात्रि 7:15 बजे देहांत हो गया ओर 14 अक्टूबर 2024 सोमवार को ठीक रात्रि ‌7:15 बजे स्वर्गीय श्री बद्रीलाल जी सोलंकी की धर्मपत्नी 75 वर्षीय श्रीमती शांति बाई भी 48 घंटे के भीतर पति के पास अनंत यात्रा पर चली गई. 

खास बात यह है कि ईश्वर की कृपा के बिना कुछ नहीं हो सकता, यह इसलिए की सन 1997 में एक निजी बस ताल स्थित चंबल नदी में गिरने के फल स्वरुप करीब पांच लोगों की मृत्यु और अनेक यात्री घायल हो गए थे. तब यह दोनों पति-पत्नी दुर्घटना में केवल घायल हुए और शासकीय चिकित्सालय जावरा से स्वस्थ होकर आलोट वापस अपने घर चले गए. 

कई बार लोग बाग यह कहते रहते हैं कि जिएगे साथ-साथ और मरेंगे भी साथ-साथ इसका साक्षात उदाहरण स्वर्गीय श्री बद्री लालजी सोलंकी और उनकी पत्नी श्रीमती शांति बाई सोलंकी की दुखद मृत्यु को माना जा रहा है. स्वर्गीय श्रीमती शांति बाई की अंतिम यात्रा 15 अक्टूबर 2024 मंगलवार को सुबह 10:30 बजे रानीपुरा आलोट से निकलेगी.

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