राजसमंद (न्यूज सर्विस)। रवि शेखर सूरीश्वर महाराज ठाणा का मेवाड़ का प्रवेश द्वारा झीलवाड़ा में शुक्रवार को चातुर्मास मंगल प्रवेश हुआ। इससे पूर्व हिमाचल सूरी चौराहा से ऊंट, घोड़े, रथ, झांकिया, ढोल, राजस्थनी गैर मण्डली व बैण्डबाजों के साथ आचार्य ने पदार्पण किया। इस दौरान साथ में जैन अनुयायी जयकारा लगाते हुए चल रहे थे वहीं महिलाएं मांगलिक गीत गाती साध्वी व्रतो के पीछे पीछे चल रही थी। शोभा यात्रा के झीलवाड़ा मण्डप स्थल पहुंचे पर आचार्य का पुष्प वर्षा व तोप द्वारा स्वागत किया तथा आचार्य ने आदिनाथ परमात्मा के दर्शन किए। इसके बाद मंडप प्रवेश किया जहां संगीतकार अशोक व सुमित द्वारा नवकार मंत्र से भावभरा स्वागत किया।
आचार्य ने उपस्थित धर्म प्रेमियों को सम्बोधित करते हुए कहा कि चातुर्मास मानवीय जीवन साधना का सुअवसर है। सत्य ,संयम का बीजारोपण कर संस्कारवान बने। मुनिवर ललित शेखर,नभरत्न शेखर ने भी विचार रखे। विभिन्न क्षेत्रों से आए संघ पदाधिकारियों का आदिनाथ सकल संघ की ओर से बहुमान किया गया। धर्मसभा को इन्द्रमल धूपिया पालितणा, मोहनलाल पामेचा, देवीलाल कोठारी, चन्दन मल सिंघवी, बाबूभाई राठौड़ ,अशोक बापना, शिवलाल पोखरणना आदि ने भी अपने विचार रखे। आदिनाथ जैन श्वेताम्बर मूर्ति पूजक संघ झीलवाडा अध्यक्ष श्रीपाल कोठारी व मंत्री मनोहर शीसोदिया ने स्वागत उद्बोधन व आभार व्यक्त किया । समारोह में चारभुजा, रिछेड़, सैवंत्री, गांवगुड़ा, लाम्बोड़ी, झालों कि मदार के अलावा मुंबई, सुरत, पुना, कर्णाटक, चैन्नई, बैंगलोर आदि जगहों से भी सैंकड़ों जैन धर्म प्रेमियों ने भाग लिया। इसके बाद संघ स्वामी वात्सल्य व पंच कल्याणक पूजा व नवनिर्मीत आदिश्वर भवन का उद्घाटन हुआ।
फोटो राज राजसमंद। चारभुजा क्षेत्र के झीलवाड़ा गांव में चातुर्मास के लिए प्रवेश करते आचार्य रवि