राजेश जैन दद्दू
इंदौर.
तीर्थ स्वरूप दिगंबर जैन आदिनाथ जिनालय छत्रपति नगर में आचार्य विनम्र सागर जी महाराज ससंघ के सानिध्य में मूल नायक आदिनाथ भगवान के मस्तक पर 1008 महामंत्रो से बृहद शांति धारा (अभिषेक) की गई। महामंत्रों का उच्चारण उच्चारणाचार्य विनम्र सागर जी महाराज ने किया.
धर्म समाज प्रचारक राजेश जैन दद्दू ने बताया कि शांति धारा करने का सौभाग्य डॉ. जैनेंद्र राजेश जैन दद्दू, अरविंद अखिलेश सोधिया, जिनेश जैन, सुरेश पड़ोसी, हीरालाल शाह, डीएल जैन, अतुल महेंद्र जैन, पवन चैलेंजर, नरेंद्र राकेश नायक, जय कुमार सेठ, अभिषेक बांझल, आलोक नेता आदि ने प्राप्त किया.
इस अवसर पर आचार्य विनम्र सागर जी ने अपनी विनम्र वाणी में प्रवचन देते हुए बृहद अभिषेक, शांति धारा एवं भगवान की भक्ति भाव से आराधना करने का महत्व एवं उसका फल बताते हुए कहा कि करने वाले और देखने वाले दोनों को ही आनंद, पुण्य एवं सम्यकत्व की प्राप्ति होती है एवं उनका मन निर्मल हो जाता है. भगवान इस संसार रूपी समुद्र से हमें तारने में सक्षम है.
आपने कहा कि भगवान का अभिषेक, पूजन एवं शांति धारा जब भी करें, राग द्वेष का त्याग कर, प्रसन्न मन और भक्ति भाव से करें. भगवान का जितना गुणगान आप करेंगे, उतना आपका मन प्रसन्न होगा और आपका क्षयोपषम (ज्ञान) बढ़ेगा. आभार ट्रस्ट अध्यक्ष भूपेंद्र जैन ने माना.