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Indore news : इंदौर के आश्रम में बच्चों की मौत के मामले में एनएचआरसी ने मुख्य सचिव से मांगी रिपोर्ट

इंदौर Published by: sunil paliwal-Anil Bagora Updated Mon, 08 Jul 2024 12:48 AM
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मध्य प्रदेश में इंदौर शहर के युगपुरुष आश्रम में बच्चों की मौत के मामले में राष्ट्रीय बाल अधिकार एवं संरक्षण आयोग की सदस्य डॉ. दिव्या गुप्ता यहां जांच करने पहुंची। उनके अनुसार इस मामले में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी संझान लिया था। इसकी रिपोर्ट पीएमओ भी जाएंगी।

इंदौर के युगपुरुष आश्रम में हुई थी 6 बच्चों की मौत।

आश्रम के बच्चों को दूसरी जगह शिफ्ट किया गया है।

इंदौर. इंदौर शहर के मल्हारगंज स्थित युगपुरुष धाम आश्रम में बच्चों के बीमार और मौत होने के मामले में राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) ने मध्य प्रदेश के मुख्य सचिव को नोटिस जारी कर एक सप्ताह में विस्तृत रिपोर्ट मांगी है। अभी सफाई की गई है, रंगाई-पुताई का काम जारी।

इसमें अस्पताल में भर्ती बच्चों की मौजूदा स्थिति की जानकारी देने को भी कहा है। साथ ही प्रधानमंत्री कार्यालय में भी मामले की विस्तृत रिपोर्ट सौंपी जाएगी। इसके लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भी संज्ञान लिया है। यह बात राष्ट्रीय बाल अधिकार एवं संरक्षण आयोग की सदस्य डॉ. दिव्या गुप्ता ने कही। उन्होंने बताया कि इंदौर आश्रम में हुई घटना में संज्ञान लेने हम दिल्ली से आए थे। जिन अनियमितताओं की चर्चा थी, निरीक्षण के दौरान वे यहां नहीं मिलीं।

आश्रम से मिले दस्तावेज दिल्ली जाएंगे

आश्रम में अब सफाई हो गई है। रंगाई-पुताई का कार्य चल रहा है। रसोईघर, छत और पानी की टंकी में भी सफाई हो गई है। हमें आश्रम से कई दस्तावेज मिले हैं, जिन्हें हम दिल्ली लेकर जा रहे हैं। 27 जून को जिस डॉक्टर ने बच्चों का इलाज किया था, मिर्गी की कौन-सी दवाई दी थी, उसकी जानकारी भी ली है।

आश्रम को कितना पैसा मिलता है 

आश्रम के लिए कितना पैसा आता है, यह भी पता किया है। हम हार्ड डिस्क भी लेकर जा रहे हैं। हम वहां इसका विश्लेषण करेंगे और एक विस्तृत रिपोर्ट तैयार करेंगे, जिसे केंद्र और राज्य सरकार को देंगे। केंद्रीय मंत्री अन्नपूर्णा देवी और पीएमओ को भी रिपोर्ट सौंपी जाएगी। यह मामला इसलिए राष्ट्रीय संज्ञान में आया क्योंकि यहां बच्चों की मौत हुई है।

अधिकारियों ने नहीं निभाई अपनी जिम्मेदारी

अधिकारियों को नियमित रूप से संज्ञान लेना था। आश्रम का निरीक्षण करना था, उनकी यह जिम्मेदारी थी, लेकिन उस पर वे खरे नहीं उतर पाए हैं। हालांकि कलेक्टर ने आश्रम संचालकों को कारण बताओ नोटिस दिए हैं। अब हम योजना बनाकर राष्ट्रीय स्तर पर जो भी बाल कल्याण संस्थान चल रहे हैं, उनका लगातार निरीक्षण करेंगे।

- डॉ. दिव्या गुप्ता, सदस्य, राष्ट्रीय बाल अधिकार एवं संरक्षण आयोग

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