गेम का एडिक्शन ही इतना खतरनाक होता है कि इसे खेलने वाले लत में कुछ भी करने को तैयार रहते हैं. ये गेम्स टीनेजर्स के दिमाग को कैप्चर कर लेते हैं और इसकी लत में वे अपना अच्छा-बुरा भी भूल जाते हैं.
थाइलैंड के एक लड़के के साथ भी ऐसा ही हुआ. 18 साल का लड़का गेम के चक्कर में रात-रात भर जागता रहता था. उसके माता-पिता को भी लड़के की इस आदत के बारे में ज्यादा कुछ पता नहीं था, हालांकि वे ये ज़रूर जानते थे कि बेटे को ऑनलाइन गेम का खासा शौक है.
थाइलैंड के रहने वाले 18 साल के लड़के को ऑनलाइन गेम्स खेलने का शौक था. वो अपने कमरे के अंदर गेम खेलता रहता था. लड़के के माता-पिता को भी इस बात का अंदाज़ा नहीं था कि उनका बेटा रात में जागकर गेम खेलता है. लड़के की मां का कहना है कि उन्हें अपने बेटे के गेम एडिक्शन को लेकर कभी चिंता नहीं होती थी. हालांकि उनका बेटा ज्यादातर वक्त मोबाइल फोन में गेम खेलता रहता था. कभी कम्प्यूटर तो कभी मोबाइल पर उसके गेम्स चलते रहते थे.
लड़के की मां ने बताया कि वे अपने बेटे के बगल वाले कमरे में ही सोती थीं. उन्हें बेटे के कमरे से बाथरूम की आवाज़ें आती थीं, क्योंकि वो रात को नहाता था. द सन के मुताबिक लड़का पूरी रात दरवाज़ा बंद करके गेम खेलता रहता था. इसी बीच एक दिन लड़के ने रात में अपना फोन भी नहीं उठाया, न ही उसके कमरे का दरवाज़ा खुल रहा था. जब पड़ोसियों की मदद से दरवाज़ा खोला गया तो वो बिना शर्ट से बेसुध पड़ा हुआ था. उसके पास ही उसका मोबाइल भी पड़ा था. पुलिस का कहना है कि चूंकि लड़का ज्यादा सोता नहीं था और उसके शरीर को रेस्ट नहीं मिल रहा था. ऐसे में संभव है कि उसकी मौत नींद की कमी से दिल का दौरे पड़ने के चलते हुई.
इससे पहले भी थाइलैंड में दो साल पहले एक लड़के की मौत गेम एडिक्शन से हो चुकी है. वो भी रात-रात भर गेम खेलता था और स्कूल से मिले हाफ टर्म ब्रेक में भी ऐसा ही करने लगता था. कुछ दिनों पहले इंडोनेशिया से भी गेमिंग एडिक्शन की तस्वीर सामने आई थी, जिसमें टीनएजर बाढ़ के पानी के बीच बैठकर गेम खेल रहे थे.