बाबा रामदेव की कंपनी पतंजलि आयुर्वेद के स्वामित्व के अंतर्गत आने वाली खाद्य तेल फर्म रुचि सोया (Ruchi Soya Firm) अपना फॉलो-ऑन इश्यू ऑफर्स (FPO) 24 मार्च को आने वाला है। इसके तहत योजना 4,300 करोड़ रुपये जुटाने के लिए बनाई गई है।
देर रात एक नियामक फाइलिंग में रुचि सोया ने कहा कि बोर्ड की एक समिति ने रेड हेरिंग प्रॉस्पेक्टस (आरएचपी) को मंजूरी दे दी है। जिसकी 24 मार्च, 2022 की बोली होगी या जारी किया जाएगा और 28 मार्च, 2022 को इसका समापन किया जाएगा। बता दें कि पिछले साल अगस्त में इस कंपनी को एफपीओ लॉन्च करने के लिए पूंजी बाजार नियामक सेबी की मंजूरी मिली थी। इसने जून 2021 में ड्राफ्ट रेड हेरिंग प्रॉस्पेक्टस (DRHP) दाखिल किया था।
कहां होगा इस्तेमाल
DRHP के अनुसार, रुचि सोया कुछ बकाया ऋणों के पुनर्भुगतान, अपनी वृद्धिशील कार्यशील पूंजी आवश्यकताओं और अन्य सामान्य कॉर्पोरेट उद्देश्यों को पूरा करके कंपनी के व्यवसाय को आगे बढ़ाने के लिए इस्तेमाल करेगी।
2019 में पतंजलि ने किया था अधिग्रहण
2019 में पतंजलि ने 4,350 करोड़ रुपये में एक दिवाला प्रक्रिया के माध्यम से रुचि सोया का खरीदा था। कंपनी के पर्वतकों के पास करीब 99 फीसदी हिस्सेदारी है। कंपनी को एफपीओ के इस दौर में कम से कम 9 फीसदी हिस्सेदारी बेचने की जरूरत है।
क्या है सेबी का नियम
सेबी के नियमों के मुताबिक, कंपनी को कम से कम 25 फीसदी पब्लिक शेयरहोल्डिंग हासिल करने के लिए प्रमोटर्स की हिस्सेदारी कम करनी होगी। प्रवर्तकों की हिस्सेदारी को घटाकर 75 फीसदी करने के लिए उसके पास करीब 3 साल का समय है।