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पालीवाल साहित्यकार : चर्चित उपन्यास के लेखक की कलम से निकला “आख़िरी प्रेम गीत” : श्री अभिषेक जोशी

इंदौर Published by: Pulkit Purohit-Ayush Paliwal Updated Thu, 04 Feb 2021 01:23 AM
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इंदौर । (कैलाश दवे...) पालीवाल ब्राह्मण समाज 44 श्रेणी इंदौर के युवा साहित्यकार एवं ओशन क्लासेस का संचालन करने वाले श्री अभिषेक कैलाश चंद्र जोशी (ग्राम. उथनोल) ने अपनी लेखनी से कलात्मक लेखकों को कड़ी टक्कर देकर साहित्य के क्षेत्र में तहलका मचा रहे हैं। इनके उपन्यास को पढ़ने या मंगवाने के लिए श्री अभिषेक जोशी से संपर्क कर सकते है या अमेज़न की लिंक पर क्लिक करें।

नटराज त्रिपाठी और सरगम सिन्हा दोनों दोस्त है तथा मध्यम वर्गीय परिवार से ताल्लुक रखते है। वे दोनों साथ में संगीत महाविद्यालय में पढ़ रहे है। जहाँ नटराज महान गायक बनना चाहता है वहीँ सरगम नृत्यांगना। शक्ति सिंह जो एक विधायक का लड़का है जो सरगम से प्रेम करता है और सरगम भी शक्ति को चाहती है। सरगम सिन्हा और शक्ति के प्रेम के बीच शक्ति के विधायक पिता सरगम के प्रसिद्ध होने पर उसे मरवाने की सुपारी देता है। लेकिन पासा उल्टा पड़ जाता है और दो निर्दोष मारे जाते हैं, जिससे नटराज की ज़िन्दगी में तूफ़ान आ जाता है और वह एक ऐसी साधना में लीन हो जाता है जो दुनिया में सबकुछ बदलने की क्षमता रखती है ! एक बार तानसेन ने अकबर को अपना दीप राग सुनाया जिससे भरे दरबार में सभी दीपक अपने आप जल उठे। तानसेन के बाद क्या नटराज भी ऐसा कर सकने में सक्षम था ? आखिर वे क्या परिस्थितियाँ थी जिसमें उसे लाखों दीपक अपनी साधना के बल से जलाना पड़े ? जानने के लिए पढ़े, नटराज और सरगम की अद्भुत प्रेम कहानी "आख़िरी प्रेम गीत"।

● पालीवाल वाणी ब्यूरो- Pulkit Purohit-Ayush Paliwal...✍️

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