एप डाउनलोड करें

मतदाताओं के नेगेटिव और पॉजिटिव रुख से भाजपा और कांग्रेस को कितना नफा-नुकसान

आपकी कलम Published by: जगदीश राठौर Updated Sun, 03 Dec 2023 01:03 AM
विज्ञापन
Follow Us
विज्ञापन

वॉट्सऐप चैनल फॉलो करें

रतलाम से जगदीश राठौर की खास रिपोर्ट  

मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव 2023 सांप सीढ़ी के खेल की भांति काफी उतार-चढ़ाव एवं असमंजस से भरा रहा । चुनाव में भारतीय जनता पार्टी ने जहां प्रधानमंत्री आवास योजना, गरीब कल्याण योजना, किसान कल्याण योजना, लाडली बहना योजना, मन में मोदी, राम मंदिर और विकास के मुद्दे पर संगठन शक्ति बल पर उत्साह हीनता के साथ लड़ा।

कांग्रेस ने सत्ता परिवर्तन, सस्ती बिजली, सस्ता गैस सिलेंडर, पुरानी पेंशन, महंगाई बदलाव एवं बेरोजगारी पर केंद्रित मुद्दों को लेकर चुनाव लड़ा । भाजपा को जहां नाराज कर्मचारियों महंगाई और बेरोजगारी पर लेकिन कांग्रेस को सन 2003 से पहले  वाला मध्य प्रदेश की मुद्दे पर कुछ प्रतिशत नुकसान संभावित है।

मध्य प्रदेश में भाजपा और कांग्रेस को करीब 50 सीटों पर बगावत, भीतर घात एवं गुटबाजी के अलावा तीसरी ताकत का भी का भी नफा  नुकसान सर्वे में सामने आया है। एग्जिट पोल मध्य प्रदेश में भाजपा को बहुमत मिलने का स्पष्ट इशारा कर रहे हैं हालांकि मतदाताओं ने कई बार एक्जिट पोल के निर्णय को मतदान परिणाम में बदल कर दिया है।

रतलाम जिले की सभी पांच सीटों पर भाजपा होगी काबिज  रतलाम जिले में कांग्रेस को पराजित करने में कांग्रेस के बागी उम्मीदवारों का योगदान माना जा रहा है। रतलाम शहर से ओबीसी वर्ग के नेता प्रभु राठौड़ को टिकट मिलना था फलस्वरूप उन्होंने चुनाव से दूरियां बना ली । रतलाम ग्रामीण विधानसभा क्षेत्र से  जयस उम्मीदवार डॉ अभय ओहरी  सैलाना विधानसभा क्षेत्र से कांग्रेस से टिकट नहीं मिलने पर (बागी) जयस उम्मीदवार कमलेश डोडियार, जावरा विधानसभा क्षेत्र से पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ द्वारा करीब 6 माह पूर्व से कांग्रेस पार्टी से टिकट देने का वादा कर  टिकट नहीं देने पर निर्दलीय उम्मीदवार जीवन सिंह शेरपुर और अनुसूचित जाति बहुल विधानसभा क्षेत्र आलोट से पूर्व सांसद प्रेमचंद गुड्डू को टिकट नहीं मिलने पर चुनाव मैदान में उतरे और माना जा रहा है कि उन्होंने कांग्रेस को पराजित करने में अपना योगदान किया है।

माना जा रहा है कि इस बार सैलाना में भी बदलाव की बयार है क्योंकि भाजपा उम्मीदवार श्रीमती संगीता चारेल वर्ष 2018 के चुनाव में पराजित होने के उपरांत भी लगातार सक्रिय रही है। भाजपा ने काफी सर्वे के बाद मे संगीता के नाम पर मोहर लगा कर कमल खिलाने के लिए काफी ताकत लगाई है। रतलाम जिले की सबसे बहुचर्चित जावरा विधानसभा सीट पर कांग्रेस पार्टी ने दमदार उम्मीदवार दिया लेकिन कांग्रेस पार्टी में ही स्थानीय एवं बाहरी के मुद्दे पर उनका परिणाम क्या होगा, यह 3 दिसंबर को मतगणना के बाद ही मालूम होगा।

अनेक लोगों से चर्चा एवं विश्लेषण के बाद बाद माना जा रहा है कि भाजपा उम्मीदवार डॉ राजेंद्र पांडेय 77,500 मत प्राप्त कर विजय श्री का चौका लगा सकते हैं। कांग्रेस उम्मीदवार वीरेंद्र सिंह सोलंकी 71000  मत हासिल दूसरे क्रम पर होंगे। निर्दलीय उम्मीदवार जीवन सिंह शेरपुर बंपर मत 45000 लेकर निर्दलीय उम्मीदवार बनने का इतिहास रच रहे हैं। क्योंकि वर्ष 2018 के चुनाव में निर्दलीय उम्मीदवार डॉक्टर राठौर एवं भाजपा के बागी उम्मीदवार श्याम बिहारी पटेल अपनी जमानत खो बैठे थे।

आजाद भारत पार्टी के उम्मीदवार दिलावर खान 4500 मत प्राप्त कर भारतीय जनता पार्टी को सीधे-सीधे लाभ पहुंचा रहे हैं। करीब 2000 वोट तीन उन उम्मीदवार प्राप्त कर सकते हैं तो करीब 3000 वोट नोटा में जाएंगे। कुल मतदान के आंकड़ों का यह गणित 2 लाख 5 हजार पर हो रहा है, इसमें 2106 शासकीय कर्मचारी एवं 80 + मतदाता भी हैं ।

  • लेखक का अनुमान बिल्कुल सही हो यह जरूरी नहीं है.
और पढ़ें...
विज्ञापन
Next