अजमेर । कोरोना वायरस से उत्पन्न हुए हालातों ने लोगों को अपनी जीवन शैली बदलने को मजबूर किया है। खान पान में कुछ भी चलेगा, अब लोगों को अपनी यह प्रवृत्ति बदलनी पड़ रही है। अनेक लोगों ने पहली बार अपने शरीर की शारीरिक क्षमता को बढ़ाने की ओर ध्यान दिया है। यही वजह है कि बजार में इम्युनिटी बढ़ाने वाली औषधियों की बाढ़ सी आ गई है। कोरोना की वजह से जैविक खेती का भी महत्व बढ़ा है। अजमेर के युवा गिरिराज अग्रवाल पिछले कई वर्षों से जैविक खेती के लिए किसानों को प्रेरित कर रहे हैं। इसके लिए पुष्कर क्षेत्र के किसानों का एक समूह भी बनाया गया है। अग्रवाल का मानना है कि यदि गौ आधारित जैविक खेती की जाए तो गौ माता के संरक्षण के साथ साथ किसानों की आय भी कई गुना बढ़ सकती है।
हाल में केन्द्र सरकार ने जो कृषि सुधार कानून बनाया है, वह किसानों की आय बढ़ाने में सहायक होगा। यह सही है कि आज भी किसान परंपरागत तरीकों से ही खेती कर रहा है, जबकि उसे आधुनिक तकनीक की जरुरत है। कीटनाशक छिड़क कर खेती करने से कोई फायदा होने वाला नहीं है, इससे लोगों का स्वास्थ्य भी खराब होता है। कैंसर जैसे जानलेवा रोग भी दूषित खाद्यान के सेवन करने से होते हैं। यदि किसान गाय के गोबर और मूत्र से बनी खाद का उपयोग करें तो किसी भी कीटनाशक की जरुरत नहीं होगी। जैविक खेती की मांग अब तेजी से बढ़ रही है। इस दौरान कोरोना वायरस ने भी औषधीय खेती की ओर ध्यान आकर्षित किया है। यदि कोई किसान हमारी आयुर्वेदिक औषधियों का उत्पादन जैविक तरीके से करता है तो कई गुना अधिक आमदनी हो सकती है। यही वजह है कि उनकी संस्था ओरग्रेन इंडिया ने पुष्कर के किसानों को प्रेरित किया है। आने वाले दिनों में पुष्कर के खेतों में अश्वगंधा की फसल लहलहाती नजर आएगी। ओरग्रेन इंडिया के कई उत्पाद बाजार में पहले से ही है और अब 13 नवम्बर 2020 को धनतेरस के अवसर पर 14 आयुर्वेदिक तत्वों से बनी हर्बल टी, इम्युनिटी टी ऑनलाइन लान्च की है। शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने वाली इस औषधीय चाय में तुलसी, अवश्गंधा, गिलोय, दालचीनी, कालीमिर्च, लेमनग्रास, मुलेठी, सौंठ, अर्जुन, सौंप आदि के तत्व मिले हैं।
● पालीवाल वाणी ब्यूरों-M. Ajnabee-Kishan Paliwal...✍️
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