जयपुर :
भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो बूंदी टीम द्वारा अतिरिक्त जिला कलक्टर (सीलिंग) के नाम पर परिवादी से हाइवे सडक़ निर्माण में अवाप्ति का मुआवजा खाते में डलवाने की एवज में मांगी गई एक लाख रुपए की रिश्वत लेते हुए पकड़ा गया आरोपी दलाल के विरुद्व एसीबी मुख्यालय ने प्रकरण दर्ज कर लिया है। अब प्रकरण में नियुक्त अधिकारी मामले की जांच करेगा। इधर,बूंदी एसीबी टीम ने आरोपी की बैंक डिटेल खंगाली है,जिसमें चौकाने वाली बात सामने आई है। फिलहाल आरोपी न्यायिक अभिरक्षा में चल रहा है।
एसीबी पुलिस उप अधीक्षक ज्ञानचंद मीणा ने बताया कि आरोपी प्रभाकर शर्मा ने बूंदी के एक बैंक में अपनी सांस के नाम का एंकाउट खुलवा रखा है। जिसको वो स्वयं ऑपरेट करता है। खाते में मोबाइल नंबर,मेल आईडी स्वयं आरोपी की है। सिर्फ खाता सास के नाम का है। जिसकी एसीबी टीम ने डिटेल खंगाली तो सामने आया कि खाते में बीते 6 महिने में साढ़े 23 लाख रुपए का ट्रांजेक्शन हुआ।
पैसा कहां से आया किसने भेजा है। इस मामले की एसीबी गहनता से जांच कर रही है। एसीबी टीम ने बैंक से खाते के रिकॉर्ड मागें है। कोटा एसीबी अधीक्षक अब मामले में जांच अधिकारी नियुक्त करेंगे। उसके बाद ही आगे की कारवाई शुरु होगी। वहीं अब तक की जांच में संदिग्धों की भूमिका के बारे में अनुसंधान अधिकारी जांच करेगा। एसीबी मुख्यालय ने ट्रेप कार्रवाई के आधार पर यह प्रकरण दर्ज किया है।
आरोपी शातिर था,तभी उसने अपनी सास के नाम का बैंक में खाता खुलवा रखा था। सारी ब्लैक मनी उसमें ही डलवाता था। तभी बीते 6 माह में साढ़े 23 लाख रुपए का ट्रांजेक्शन हुआ है। खुद के खाते में पैसा डलवाता था तो आरोपी पकड़ में आ जाता। इसलिए आरोपी ने सास के नाम का एक बैंक में खाता खुलवा लिया। इसका खुलासा एसीबी जांच में हुआ है।