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खरमास 16 दिसं. से शुरू : अथाह पैसा पाने के लिए करें ये उपाय

ज्योतिषी Published by: Paliwalwani Updated Tue, 06 Dec 2022 12:03 AM
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Kharmas and Jyotish Tips : ज्योतिष विज्ञान के अनुसार जब कभी सूर्य देवगुरु बृहस्पति की राशि धनु और मीन में विचरण करते हैं, तब खरमास का माह लगता है। हिंदू धर्म में खरमास को अशुभ माना गया है और सभी शुभ कार्यों को करने की स्पष्ट मनाही की गई है।

खरमास में विवाह, जन्मोत्सव, नींव लगाने सहित अन्य सभी तरह के शुभ कार्य रोक दिए जाते हैं। यद्यपि इस पूरे माह में धार्मिक कार्य किए जा सकते हैं। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार खरमास में धार्मिक कार्य अवश्य करने चाहिए। इस माह किए गए धर्म-कर्म का अनंत फल मिलता है और व्यक्ति को स्वर्ग की प्राप्ति होती है।

क्या है खरमास की कथा 

संस्कृत भाषा में गधे को खर कहा जाता है। एक कथा के अनुसार भगवान सूर्य अपने रथ पर बैठकर ब्रह्माण्ड की परिक्रमा कर रहे थे। यात्रा के दौरान रथ के घोड़ों को प्यास लगी। इस पर सूर्यदेव ने यात्रा को बीच में रोका और घोड़ों को तालाब के किनारे पानी पिलाने लगे। परन्तु उसी समय उन्हें अनुभव हुआ कि यदि वह रुके रहे तो ग्रहों का संतुलन पूरी तरह बिगड़ जाएगा।

ऐसे में उन्होंने वही पास में खड़े दो गधों को अपने रथ में जोत लिया और अगले एक महीने तक उन्हीं गधों की सहायता से यात्रा करते रहे। हालांकि घोड़ों की जगह गधे जुते होने के कारण यात्रा बहुत धीरे हुई। एक महीने बाद उन्होंने उन गधों को रथ से हटाकर वापिस घोड़ों को जोत लिया। इस प्रकार जो समय बिता, उसी को खरमास कहा जाता है। ज्योतिष के अनुसार प्रत्येक तीन वर्ष में एक बार खरमास आता है।

ज्योतिष की दृष्टि से देखें तो हिंदू पंचांग में प्रत्येक वर्ष 11 दिन कम पड़ जाते हैं। इस स्थिति में प्रत्येक तीसरे वर्ष 12 महीनों के अलावा एक तेरहवां मास जोड़ दिया जाता है जो सूर्य की गति से संबंध होता है। इस तरह पंचांग में आ रही त्रुटि को सुधार लिया जाता है।

Kharmas 2022 : खरमास कब है?

पंचांग के अनुसार इस वर्ष सूर्य 16 दिसंबर 2022 को धनु राशि में प्रवेश करेंगे। धनु राशि में सूर्य के प्रवेश के साथ ही खरमास का आरंभ हो जाएगा जो अगले वर्ष 14 जनवरी 2023 को समाप्त होगा। इस पूरे वर्ष में लोग बढ़-चढ़कर धार्मिक कार्यों का आयोजन करेंगे और स्वयं भी भाग लेंगे।

क्या न करें खरमास में

खरमास में धार्मिक कार्य यथा बालकों का मुंडन, कर्ण छेदन, गृह प्रवेश, शादी-विवाह आदि शुभ कार्य नहीं करने चाहिए। खरमास में किसी भी शुभ कार्य को आरंभ नहीं करना चाहिए। ऐसा करने से वह शुभ कार्य बीच में ही अधूरा छूट जाता है। यदि आप व्यापार कर रहे हैं तो उसमें हानि उठानी पड़ती है। ज्योतिष के अनुसार खरमास में प्रोपर्टी, वाहन, आभूषण, वस्त्र आदि की भी खरीद नहीं करनी चाहिए। ऐसा करना अशुभ माना जाता है।

खरमास में करें ये उपाय

खरमास के दौरान अपनी नाम राशि के अनुसार गरीबों को दान-पुण्य दें। इससे ग्रहों का अशुभ प्रभाव समाप्त होता है और जन्मकुंडली में ग्रह शुभ फल देने लगते हैं।खरमास में कई तरह के तंत्र प्रयोग भी किए जाते हैं। इन प्रयोगों को सामान्य दिनों में नहीं किया जाता है। आप भी किसी विद्वान पंडित के साथ विचार-विमर्श कर अपने लिए कोई अच्छा तांत्रिक उपाय कर सकते हैं।

ज्योतिषियों के अनुसार प्रतिदिन आदित्यह्रदय स्रोत का पाठ करना चाहिए। इसके बाद विष्णु सहस्रनाम का पाठ करें। इससे भगवान विष्णु तथा मां लक्ष्मी दोनों की कृपा प्राप्त होती हैं। इस एक उपाय से व्यक्ति के जीवन के सारे कष्ट दूर हो जाते हैं।

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